विवाद स्थल पर पहुंचे पुलिस कर्मचारी ने दोनों का समझौता करने का प्रयास करने पर आरोपी ने पुलिस कर्मचारी के साथ विवाद करते हुए मारपीट की इस मामले में पुलिस ने आरोपी के खिलाफ अपराध दर्ज कर दोषारोपत्र न्यायालय में पेश किया दोनों पक्षों के सुनने के पश्चात न्यायाधीश ने आरोपी को दो अलग-अलग धाराओं के दोषी मानते हुए 8 माह का कारावास तथा 10 हजार का जुर्माना अदा करने का निर्देश दिए न्यायालयीन सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार 9 मार्च 2016 को सिविल लाइन पुलिस थाने के कर्मचारी रामविलास गोविंद पवार गश्त लगा रहे थे.
इसी बीच में जानकारी मिली की बस स्टैंड के समीप कुछ लोग विवाद कर रहे हैं जिससे वह तत्काल वहां पर पहुंचे इस समय उन्हें ज्ञात हुआ कि आरोपिस अकोट फैल निवासी महेश ओमकार त्रिपाठी तथा मोहन कारले दीपक शुक्ला के बीच विवाद चल रहा था जिस से उन्होने दोनों को समझाते हुए विवाद निपटाने का प्रयास किया इस मामले में सिविल लाइन पुलिस ने आरोपी महेश त्रिपाठी के खिलाफ धारा 353 332 के तहत अपराध दर्ज किया था.
वक्ता अभियोग की सुनवाई सातवें प्रथम श्रेणी न्यायाधीश एस हारने के न्यायालय में हुई सरकार पक्षी की ओर से पेश किए गए गवाह तथा अधिवक्ताओं की दलील सुनने के पश्चात न्यायाधीश ने आरोपी को दोषी मानते हुए धारा 353 में 8 माह की सजा तथा 5 हजार जुर्माना अदा करने के आदेश दिए जुर्माने की राशि का भुगतान न करने पर आरोपी को अतिरिक्त 2 माह की सादी कैद धारा 332 में 8 माह की सजा तथा 5 हजार जुर्माना देने के आदेश दिए.
जुर्माने की राशि अदा न करने पर अतिरिक्त 2 माह की साधी कैद भुगतनी होगी पुलिस विभाग की ओर से पुलिस निरीक्षक अनवर शेख के मार्गदर्शन में कोर्ट पैरवी भी अधिकारी के रूप में उकर्डा जाधव, संजय डोंगरदिवे ने पैरवी की.
[स्रोत- शब्बीर खान]