फिर भी

जब हमार यहां बच्चा जन्मत है तो तकदीर की जगह कर्जे की रकम लिखकर लावत है: एक किसान

ऊपर लिखी बात भले ही किसी फिल्म का डायलॉग है मगर यह कहीं ना कहीं हकीकत का हाथ भी थामे हुए हैं. 30 अक्टूबर 2017 को रिलीज हुए कड़वी हवा फिल्म के ट्रेलर में किसानों की आत्महत्याओं से जुड़ी कहानी इतने स्पष्ट रुप से दर्शाई गई है कि बदलते मौसम की आबोहवा और इस बदलती आबोहवा के कारण आ रही आपदाओं तथा किसानों की आत्महत्याओं का वाक्य बिल्कुल सच्चे ढंग से सामने रखा नजर आ रहा है.

1 दिन पहले रिलीज हुए इस ट्रेलर को 11 लाख से ज्यादा बार देखा जा चुका है. इस फिल्म में संजय मिश्रा और रणवीर शौरी अपनी एक्टिंग का जोहर लोगों से मनवाने वाले हैं. किसी भी किरदार में जान डालने वाले यह दोनों कलाकार ‘कड़वी हवा’ को एक वास्तविक फिल्म बनाने का काम बखूबी निभाएंगे. ट्रेलर शुरू होते ही प्राकृतिक आपदाओं के बाद किसानों की हत्याओं का उल्लेख किया गया है संजय मिश्रा एक अंधे का किरदार निभा रहे हैं जो रेगिस्तान के पास रहते हैं और एक गरीब किसान है.

रणवीर शौरी उड़ीसा के रहने वाले हैं इस बात का पता चलते ही संजय मिश्रा रणवीर शौरी से कहते हैं कि आपके आसपास तो पानी ही पानी है और आप की आबोहवा भी बहुत अच्छी है मगर रणवीर शौरी उस बात से खुश नजर न आकर यही कहते हैं कि वहां पानी कुछ ज्यादा ही है. शायद वह बाढ़ के खतरे को यहां बताना चाहते थे.

स्कूली बच्चों को जब मौसम की जानकारी में बताया जाता है कि मौसम मौसम चार होते हैं तो उस पर एक बच्चा जवाब देता है कि हमने तो बस दो ही मौसम देखें हैं सर्दी और गर्मी. फिल्म के ट्रेलर में मौसम में हो रहे बदलावों पर भी चिंता व्यक्त की गई है और बहुत कुछ ऐसा है जो वास्तविक घटित हो रहा है और दिन प्रतिदिन बदल रहा है.

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